नई दिल्ली, 16 अप्रैल – प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कार्रवाई को लेकर देशभर में कांग्रेस के प्रदर्शनों पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। भाजपा प्रवक्ता डॉ. सुधांशु त्रिवेदी ने बुधवार को पार्टी मुख्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर नेशनल हेराल्ड केस को देश के इतिहास का “बहुत ही विचित्र मामला” बताया।
उन्होंने कहा कि यह अजीब है कि एक ऐसी कंपनी जो 90 करोड़ की देनदारी में बिक गई, उसके पास हजारों करोड़ की संपत्ति थी। इसमें खरीदने वाले और बेचने वाले दोनों एक ही हैं। कांग्रेस का दावा है कि यह अखबार पंडित नेहरू और स्वतंत्रता सेनानियों की विरासत है, लेकिन सवाल यह उठता है कि 50 साल के शासनकाल में कांग्रेस अपनी ही विरासत को क्यों नहीं बचा पाई?
त्रिवेदी ने तंज कसते हुए कहा कि अगर कांग्रेस के 10% कार्यकर्ता भी इन अखबारों को खरीदते, तो उन्हें बंद नहीं करना पड़ता। उन्होंने कौमी आवाज (उर्दू अखबार) का भी उल्लेख किया जो नहीं बिक पाया।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि यह मामला त्याग या समर्पण नहीं, बल्कि एक शुद्ध व्यापारिक लेन-देन (बिजनेस ट्रांजेक्शन) है। फिर कांग्रेस यह कैसे कह सकती है कि यह ईडी के दायरे से बाहर है या राजनीतिक दुर्भावना से प्रेरित है? त्रिवेदी ने यह भी स्पष्ट किया कि यह मामला 2012 में उठा और 2013 में यूपीए सरकार के दौरान ही दिल्ली हाईकोर्ट के निर्देश पर शुरू हुआ।